उम्र में कम लेकिन काम में दम, कुछ ऐसी ही है 13 साल की बच्ची जाहन्वी । जानिए इसे क्यों मिला है ‘वंडर गर्ल्ड’ का नाम ।
New Delhi, Nov 05 : 13 साल की जाहन्वी इंडिया की ‘वंडर गर्ल’ कही जाती है । सामान्य परिवार की जाहन्वी ने अपनी बुद्धि के बल पर वो कर दिखाया जो अच्छे-अच्छे लोग सालों की मेहनत के बाद भी नहीं कर पाते । भारत में कई लोग ऐसे हैं जिन्हें महज एक भाषा आती है लेकिन उसको भी वो सही तरह से बोलने में असमर्थ होते हैं लेकिन जाहन्वी एक नहीं कई-कई भाषाओं को यूं बोल जाती है मानों उसमें ये भाषाएं कंप्यूटर की तरह फीड हों ।
13 साल में 12 वीं की पास
‘वंडर गर्ल’ बनने के पीछे एक वजह और भी है । जाहन्वी बचपन से ही कुशाग्र बुदिद्ध की रही है । पहली बार जब स्कूल में एडमिशन लिया तो सीधे यूकेजी में । उसके बाद पढ़ाई के लिए उसकी उम्र कभी कोई पैमाना नहीं रही । वो एक साल में दूसरी क्लास तो फिर चौथी फिर सीधे छठी क्लास में पहुंच गई । 13 की होते-होते जाहन्वी ने 12वीं की पढ़ाई पूरी कर ली है ।
भाषाओं का ज्ञान चौंकाने वाला
आम भारतीय जहां हिंदी और अंग्रेजी के अलावा किसी दूसरी भाषा को सीखने में काफी वक्त लगा देते हैं । वहीं दूसरी ओर ये बच्ची है जिसे हिंदी, इंग्लिश के अलावा ब्रिटिश, अमेरिकन, फ्रेंच, जापानी और भी न जाने कितनी भाषाएं आती हैं । दूसरी भाषाओं में माहिर ‘वंडर गर्ल’ जाहन्वी ने ये सारी भाषाएं कब और कैसे सीख लीं उसके परिवार वाले भी इस पर हैरान हैं ।
इंटरनेट से सीखा
जाहन्वी को ‘वंडर गर्ल’ इसलिए भी कहा जा रहा है क्योंकि इतनी भाषाएं उसने किसी फॉर्मल पढ़ाई करके नहीं सीखी हैं । जाहन्वी का टीचर है कंप्यूटर, जिस पर अंग्रेजी की वीडियो दिखाकर उसके पापा ने उसे इंग्लिश पढ़ानी शुरू की थी । धीरे-धीरे जाहन्वी दूसरी भाषाओं का ज्ञान भी इंटरनेट पर लेने लगी । भाषाओं को जल्दी से समझ लेने का हुनर जाहन्वी में कूट-कूट कर भरा हुआ है । क्या अमेरिकन और क्या ब्रिटिश, ‘वंडर गर्ल’ जाहन्वी के दोनों ही एक्सेंट कमाल के हैं ।
दो साल की उम्र से हुई शुरुआत
जाहन्वी के पिता बृजमोहन ने उसे 2 साल की उम्र से ही अंग्रेजी भाषा का जरूरी ज्ञान देना शुरू कर दिया था । फल-सब्जियों के नाम, पशु-पक्षियों के नाम से लेकर रोजमर्रा के इस्तेमाल में आने वाली वस्तुओं के अंग्रेजी नाम । ‘वंडर गर्ल’ जाहन्वी का दिमाग बहुत तेज था, वो जल्दी ही इन शब्दों को सीख गई और बहुत जल्दी उसकी डिक्शनरी में ढेर सारे शब्द आ गए । जिनका प्रयोग वो अपने वाक्यों में करने लग गई ।
आईएएस एग्जाम की तैयारी में जुटी
जाहन्वी देश की सबसे कम उम्र की आईएएस बनना चाहती हैं । जिसकी तैयारी उसने कब से शुरू की हुई है । उसका आत्मविश्वास देखते ही बनता है जब वो ये कहती है कि मैं इसी साल आईएएस का एग्जाम क्लियर करने जा रही हूं । जाहन्वी की छोटी सी उम्र उसके हौसलों और बौद्धिक क्षमता के आगे रोड़ा नहीं बनती ।
IAS एकेडमी में बतौर स्पीकर जाती है जाहन्वी
जाहन्वी को ‘वंडर गर्ल’ यूं ही नहीं कहा जाता । 13 साल की उम्र में उसने ढेर सारी भाषाएं भी सीख ली हैं और उनके एक्सेंट भी बखूबी कैच किए हैं । बीबीसी न्यूज और इंटरनेट पर ऐसे वीडियो देख-देखकर ही जाह्नवी ने वो सब सीख लिया जो फॉर्मल एजुकेशन के बाद भी कई लोग नहीं सीख पाते । जाहन्वी आईएएस ट्रेनिंग एकेडमी से लेकर कई स्कूलों में बतौर स्पीकर जाती हैं ।
पूरे समालखा को जाहन्वी पर गर्व
हरियाणा के छोटे से शहर समालखा की इस बेटी पर पूरे हरियाणा को गर्व है । उसकी प्रतिभा काबिले तारीफ है । जाहन्वी को जब भी कोई दूसरी भाषाओं में बोलते हुए सुनता है तो बस देखता ही रह जाता है । छोटी सी उम्र में जाहन्वी के ये कारनामे उन्हें दूसरे बच्चों के लिए भी प्रेरणा बनाते हैं । जाहन्वी ने पूरे प्रदेश का नाम गर्व से ऊंचा किया है ।
और भी हैं टैलेंट
जाहन्वी ना सिर्फ कई-कई भाषाओं में पारंगत है बल्कि उसे सामान्य ज्ञान में भी कोई नहीं पछाड़ सकता । कई विषयों पर पूछे गए प्रश्नों का वो फर्राटेदार जवाब देती है । जाहन्वी जब दसवीं में थी तो 50 सेकेंड में विज्ञान की पीरिओडिक टेबल सुना सकती थी । आईएसएस बनने की तमन्ना रखने वाली जाहन्वी देश की सेवा करना चाहती है और इसीलिए वो आईएसएस की तैयारी कर रही है ।